नसीम शाह की लहराती गेंदों को देखकर कोहली का ये रिएक्शन दुनिया भर में वायरल हुआ, लेकिन कहते है घर की मुर्गी दाल बराबर होती है…दीपक चाहर की गेंद नसीम शाह से ज्यादा लहराती है…लेकिन अक्सर उन्हें बाहर ही बैठाया जाता है…जब मौका मिला तो बता दिया दीपक चाहर 24 कैरेट सोना है…जो अगला ज़हीर खान बनेगा…दीपक चाहर की कहानी कार्तिक से भी ज्यादा ख़तरनाक है…कार्तिक को खेलने का मौका नहीं मिला तो दीपक की किस्मत ने कभी खेलने नहीं दिया…राजस्थान के हनुमानगढ़ी में दीपक चाहर प्रैक्टिस करते थे…साल 2005 भारतीय क्रिकेट के लिए एक बुरा दौर आने वाला था, ऑस्ट्रेलियन खिलाड़ी रहे ग्रेग चैपल को भारत का कोच बनाया गया…भारतीय टीम में चरम पर सियासत हुई, यहां तक की उसी दौर में गांगुली खेलना भूल गए, राजस्थान में एक बार दीपक चाहर की गेंदबाज़ी देखकर चैपल ने ये तक कह दिया था कि दीपक तुम क्रिकेट छोड़ दो तुम्हारें बस की बात नहीं है, तुम इंटरनेशनल क्रिकेट नहीं खेल पाओगे…लेकिन हार उसका क्या करेगा जो जीत के सपने देखता है…चैपल तो ऑस्ट्रेलिया चले गए अब दीपक चाहर भारत के ज़हीर खान बनने जा रहे हैं…दीपक चाहर की ज़िंदगी में इतने कांटे आए कि उनकी उम्र निकलती गई…

दीपक चाहर ने अपने फर्स्ट क्लास करियर की शुरुआत हैदराबाद के खिलाफ की थी. जयपुर की तरफ से खेलते हुए दीपक चाहर ने हैदराबाद के खिलाफ 10 रन देकर 7.3 ओवर में उन्होंने 8 विकेट लिए. उनके इस शानदार प्रदर्शन की बदौलत हैदराबाद की टीम महज 21 रनों पर सिमट गई….
उसी वक्त दिग्गजों ने कहा था कि ये खिलाड़ी एक दिन भारतीय टीम का नया ज़हीर खान बनेगा…लेकिन होनी को कुछ और मंजूर था…अच्छा खेलते खेलते दीपक अचानक बीमार पड़ गए….और बीमार इस कदर पड़े कि उनकी ज़िंदगी के दो साल किसी बुरे सपने से कम नहीं थे…हालांकि बाद में वो जब रणजी में आए तो करिश्मा नहीं दिखा पाएं….एक वक्त लगा चैपल की बात सही थी…लेकिन उसी वक्त एक खिलाड़ी और बड़ा हो रहा था जिसका नाम धोनी था…कहते है ना किसी के मिलने और किसी के जाने से किस्मत भी आती-जाती है…दीपक चाहर के केस में कुछ ऐसा ही हुआ…धोनी से मिलने के पहले जब बीमारी के बाद दीपक रणजी में लौटे तो चोटिल हो गए, और फिर सालों तक उन्हें दूर रहना पड़ा…साल 2011-2012 की बात है, राहुल द्रविड़ उस वक्त राजस्थान की टीम के साथ IPL में जुड़े थे, राहुल द्रविड़ कई नए खिलाड़ियों की खोज कर रहे थे, और उसमें एक नाम दीपक चाहर का भी था…दीपक चाहर को 2011-12 में आईपीएल में राजस्थान ऱॉयल्स ने उन्हे अपनी टीम में शामिल किया, लेकिन खेलने का मौका नहीं दिया…इसके बाद अपनी फिटनेस के कारण दीपक चाहर दो साल तक किसी टीम में शामिल नहीं हो सके. फिर साल 2016-17 में दीपक चाहर को राइजिंग पुणे सुपरजायंट्स ने ख़रीदा, लेकिन यहाँ भी उन्हें ज्यादा खेलने का मौका नहीं मिला. ऐसा लगा दीपक जलने से पहले ही बूझने वाला है लेकिन ठीक एक साल बाद माही का हाथ दीपक के सिर पर पड़ गया…इसके बाद दीपक चाहर की किस्मत बदली…साल 2018 में चेन्नई सुपरकिंग्स ने दीपक चाहर को 80 लाख रुपए में ख़रीदा….किसको पता था 80 लाख वाला गेंदवाज़ सच में एक दिन ऐसा स्विंग कराएगा कि सब देखते रह जाएंगे..कहते है धोनी जिसके गुरू बने उनका चेला कभी असफल नहीं रहा…दीपक ने IPL में शानदार प्रदर्शन किया…कई मैच जिताए और दर्शकों का दिल भी जीता…आईपीएल में अच्छे प्रदर्शन का जल्द ही दीपक चाहर को इनाम मिला और उन्हें भारतीय क्रिकेट टीम में खेलने का मौका मिला. इस तरह दीपक चाहर का भारतीय क्रिकेट टीम की तरफ से खेलने का सपना पूरा हुआ. दीपक चाहर ने अपना पहला अंतराष्ट्रीय वनडे मैच एशिया विश्वकप में अफगानिस्तान के खिलाफ खेला था….लेकिन ज्यादातर टाइम उन्हें बाहर ही बैठाया जाता है, यहां तक की ऑस्ट्रेलिया में होने वाली T20 में भी दीपक चाहर को मौका नहीं मिला है…जबकि साउथ अफ्रीका के ख़िलाफ उनकी गेंद हवा में डांस कर रही थी…कहते है कुछ महान इसलिए नहीं पाते है क्योंकि कुछ महान लोग मौका नहीं देते है…क्या ऐसा ही दीपक के साथ हो रहा है