इंटरव्यू में बोले ईरान के राजदूत...मोदी पर दिया ऐसा बयान पाकिस्तान में मची खलबली!

Global Bharat 23 Apr 2024 2 Mins
इंटरव्यू में बोले ईरान के राजदूत...मोदी पर दिया ऐसा बयान पाकिस्तान में मची खलबली!

जिस वक्त ईरान और पाकिस्तान के राष्ट्रीय अध्यक्षों की मुलाकात हो रही थी, उस वक्त ईरान के राजदूत ने एक बयान देकर सबको हैरान कर दिया है! THE HINDU ने ईरान के राजदूत से एक सवाल पूछा जिसका जवाब पाकिस्तान में वायरल हो रहा है, ईरान ने साफ कर दिया है, ईरान ने भारत को पहले ही बता दिया था कि वो इजराइल पर ड्रोन हमला करने वाला है! तो क्या ईरान भारत से मदद की गुहार भी लगाएगा...और अगर ये बात खुलकर सामने आई तो भारत के उन मौलानाओं का क्या होगा जो नरेंद्र मोदी को छोटा समझते है, क्योंकि ईरान तो मिडल-इस्ट का सबसे ताकतवर मुस्लिम देश हैं...तो सुनिए पहले ईरान के राजदूत का वो इंटरव्यू जो पाकिस्तान के पीएम शाहबाज़ शरीफ पढ़ना चाहते है, इरान भी देखना चाहता है….भारत में ईरान के राजदूत इराज इलाही ने कहा
"हमारा मानना है कि भारत गाजा में इजरायली कार्रवाई को रोकने में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है।" उन्होंने कहा, "भारत सरकार इजरायल की इन कार्रवाइयों की निंदा करने में सक्रिय भूमिका निभा सकती है।" यह पूछे जाने पर कि क्या भारत ईरान और इजरायल दोनों के साथ अपने मजबूत रणनीतिक संबंधों को देखते हुए इस क्षेत्र में मध्यस्थ की भूमिका निभा सकता है। इस पर ईरानी राजदूत ने कहा कि उनकी सरकार "क्षेत्र में तनाव कम करने और शांति और स्थिरता स्थापित करने के लिए किसी भी कार्रवाई का स्वागत करेगी।" भारत गाजा में इजरायल के अभियानों को रोकने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है…ईरान क्षेत्र में शांति और स्थिरता लाने के लिए भारत की किसी भी मध्यस्थ भूमिका का स्वागत करेगा…ईरान ने पिछले सप्ताह इजरायल पर हुए हवाई हमले के बारे में भारत को पूरी जानकारी दी है…इसका मुख्य उद्देश्य, इजरायल को रोकना और लाल रेखाओं को पार करने की संभावित कीमत को प्रदर्शित करना था…दोनों उद्देश्यों को हासिल कर लिया गया है.
ईरान के राजदूत का ये बहुत छोटा बयान था, क्योंकि इसके बाद वो जो बोलने वाले हैं वो बहुत तूफानी है, और मुस्लिम देश शायद ही इसको सुन पाएं.... द हिंदू को एक लिखित उत्तर मे ईरानी राजदूत ने आगे कहा
"इजरायली शासन को समझ आ गया कि ईरान की मिसाइल क्षमता क्या है? प्रत्येक ऑपरेशन का अपना उद्देश्य होता है? इस ऑपरेशन का मुख्य उद्देश्य इजरायल को रोकना और उन्हें उनके लापरवाह कार्यों के खतरनाक परिणामों के बारे में चेतावनी देना था…ऑपरेशनों ने "साबित" कर दिया है कि अगर ईरान "अधिक विकसित हथियारों" का उपयोग करने का निर्णय लेता है तो इजरायली रक्षा बलों के सभी "महत्वपूर्ण सैन्य अड्डे" "आसानी से सुलभ" होंगे"
साफ है कि भारत की तरफ दुनिया देख रही है, PM नरेंद्र मोदी ने जिस व्यक्ति को भारत का विदेश मंत्री बनाया हैं उनकी कमांड सभी देशों में कुछ वैसी है जैसी जान पहचान आपकी आपके पड़ोस में होती है...इसलिए दुनिया में कौन क्या कर रहा है, क्या नहीं कर रहा है, इरान और पाकिस्तान की मुलाकात पर क्या करना है, ये सब मोदी नहीं बल्कि एस जयशंकर तय कर लेते है, शायद यही कारण है कि ईरान के राजदूत को ये कहना ही पड़ा कि भारत ही ये युद्ध रोक सकता है!