नई दिल्ली: मेरठ के रहने वाले अमित जानी ने राजस्थान के कन्हैयालाल हत्याकांड पर आधारित फिल्म 'उदयपुर फाइल्स' बनाई थी, जो बॉक्स ऑफिस पर दर्शकों को आकर्षित करने में नाकाम रही. इस असफलता से नाराज अमित जानी ने हिंदू समाज पर अपना गुस्सा जाहिर किया. सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में उन्होंने हिंदुओं को कठोर शब्दों में आलोचना की.
हिंदू समाज को बताया 'मरी हुई कौम'
अमित जानी ने कहा कि जब मदनी ने फिल्म का विरोध किया, तो पूरा मुस्लिम समुदाय उनके साथ खड़ा हो गया. लेकिन कन्हैयालाल के परिवार को उम्मीद थी कि हिंदू समाज उनका साथ देगा, जो नहीं हुआ. उन्होंने हिंदू समाज को 'मरा हुआ' बताया और कहा कि हिंदू पहले की तरह आज भी उदासीन है. जानी ने तंज कसते हुए कहा कि अब रजनीकांत और ऋतिक रोशन की नई फिल्में आएंगी, तो हिंदू पैसे लेकर उन्हें देखने जाएंगे.
'अश्लील फिल्मों' को प्राथमिकता देने का इल्जाम
जानी ने हिंदुओं पर निशाना साधते हुए कहा कि लोग 'सैयारा' जैसी फिल्म, जो उनके अनुसार अश्लीलता फैलाती है, उसे देखने के लिए 450 करोड़ रुपए खर्च कर देते हैं. लेकिन कन्हैयालाल की कहानी पर बनी फिल्म के लिए उनके पास 100-200 रुपए या समय नहीं था. उन्होंने बताया कि कन्हैयालाल के हत्यारों ने फिल्म को रोकने की कोशिश की, लेकिन सुप्रीम कोर्ट में लड़कर इसे रिलीज कराया गया. फिर भी, हिंदुओं की उदासीनता ने फिल्म को नाकाम कर दिया.
हिंदू समाज को बताया 'खुद का दुश्मन'
अमित जानी ने हिंदू समाज को कठोर लहजे में लताड़ा. उन्होंने कहा कि कन्हैयालाल हिंदुओं का कुछ नहीं था, इसलिए कोई उसकी लड़ाई में साथ नहीं आया. उन्होंने कहा कि हिंदू समाज खुद अपना दुश्मन है और कन्हैयालाल के बहते खून को देखने की हिम्मत नहीं रखता. यह फिल्म कन्हैयालाल के परिवार को आर्थिक मदद देने के लिए बनाई गई थी, लेकिन हिंदू समाज की बेपरवाही इस पर भारी पड़ गई.
अमित जानी का विवादित इतिहास और सुरक्षा
अमित जानी को हाल ही में केंद्र सरकार ने 'उदयपुर फाइल्स' के कारण मिल रही धमकियों के चलते वाई श्रेणी की सुरक्षा दी है. जानी कई सालों से विवादों में रहे हैं. 2022 में उन्होंने मेरठ से निर्दलीय विधानसभा चुनाव लड़ा, लेकिन हार गए. 2012 में राहुल गांधी को काला झंडा दिखाने के कारण उन पर मुकदमा दर्ज हुआ. 2017 में उन्होंने आजम खान को धमकी दी थी.