जब अफसरशाही दिमाग पर हावी होने लगे, कोई अधिकारी खुद को जनता का मालिक समझने लगे तो ये तस्वीरें एक बार नहीं बार-बार देखना, क्योंकि सूट पहनी महिला कोई आम आदमी नहीं बल्कि राजस्थान की एसडीएम हैं और उनका बाल पकड़कर खींच रही महिला एक बुजुर्ग की बहू यानि स्थानीय महिला है. अब जो एसडीएम बुलडोजर लेकर पहुंची थीं, उनके साथ ऐसा एक महिला ने ही क्यों किया, पूरी कहानी तफसील से जानिए फिर बताइए सही कौन गलत कौन. पूरा मामला राजस्थान के टोडाभीम का है.
12 सितंबर की शाम 4 बजे एसडीएम सुनीता मीणा दल-बल के साथ अतिक्रमण हटाने जाती हैं, तो वहां मौजूद बुजुर्ग और उसके परिवारवाले विरोध करते हैं, और एसडीएम सुनीता मीणा उस बुजुर्ग को धक्का दे देती हैं, तस्वीरों में इसकी थोड़ी सी झलक दिखाई भी देती है. इस दौरान वहां मौजूद लोग बताते हैं कि पास में ही खड़ी बुजुर्ग की बहू एसडीएम को ऐसा करने से रोकती हैं, लेकिन उसके बाद विवाद इतना बढ़ जाता है कि न तो महिला एसडीएम को अपने पद का ध्यान रहता है और ना ही वो महिला इन्हें अधिकारी वाला इज्जत देती हैं, गली-मोहल्लों की लड़ाई की तरह एक बाल पकड़कर खींचने लगती है, दूसरी उससे बचने की कोशिश करती हैं, यहां तक कि वहां मौजूद दो पुलिसकर्मियों भी कुछ देर तक उस महिला को नहीं रोक पाते, जैसे-तैसे उस महिला को हटाते हैं.
वीडियो वायरल होते ही समूचे राजस्थान में हड़कंप मच जाता है. एक तरफ सवाल अधिकारियों की सुरक्षा और मान-प्रतिष्ठा का था, तो दूसरी तरफ ऐसे लोगों पर कार्रवाई करने का, जो प्रशासन को अतिक्रमण हटाने से रोक रहे हैं, जिसके घर एसडीएम साहिबा बुलडोजर लेकर गईं थीं. उसका कहना है कि हमने धर्मकांटा पहले ही हटा लिया था, उसे मिट्टी से भर दिया गया, लेकिन अब ये लोग मेरे कमरे को भी तोड़ना चाहते थे, वहां पूरा परिवार बैठा था, हमारे पास जमीन के सारे कागजात हैं, पर कोई सुनने वाला नहीं है.
लेकिन सवाल इस बात का है कि कागजात होने के बाद कोई अधिकारी बुलडोजर लेकर क्यों जाएगा. इस तस्वीर को देखने के बाद लोगों को सीएम योगी का वो बयान याद आ रहा है, जिसमें उन्होंने कहा था बुलडोजर की स्टीयरिंग पर हर किसी का हाथ सेट नहीं होता. हालांकि इस तरह से अधिकारियों को न तो जनता पर रौब झाड़ना चाहिए और ना ही आम लोगों को कानून हाथ में लेना चाहिए. एसडीएम सुनीता मीणा का दावा है कि प्रशासन अतिक्रमण हटाने गया था, तभी कहासुनी हो गई, इस मामले को अब तूल न दिया जाए.
हालांकि कई मीडिया रिपोर्ट में ऐसी चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है कि सुनीता मीणा का तबादला पहले ही हो चुका है, टोडाभीम की नई एसडीएम पूजा मीणा को बनाया गया है, लेकिन पूजा ने फिलहाल चार्ज नहीं लिया है, इसलिए सुनीता मीणा ही एसडीएम का पदभार संभाल रही हैं, जिसे लेकर कई तरह की चर्चाएं शुरू हो चुकी हैं. फिलहाल इस मामले ने गंगापुर जिले से लेकर जयपुर तक हड़कंप मचा रखा है, हर अधिकारी वीडियो देखने के बाद यही सवाल पूछ रहा है कि हमारी सुरक्षा का क्या होगा.
टोडाभीम थाने के SHO को एसपी ने लाइन हाजिर किया है, मौके पर मौजूद पुलिसकर्मियों को नोटिस दिया है. ड्यूटी ऑफिसर ASI बने सिंह गुर्जर को एसपी ने सस्पेंड कर दिया है. हालांकि ये पहला मामला नहीं है, जब इस तरह से प्रशासन औऱ आम लोगों में बुलडोजर को लेकर भिड़ंत हुई है, इससे पहले भी कई ऐसी तस्वीरें सामने आई है, और हर बार अधिकारियों को यही सलाह मिली है कि सरकार का आदेश लागू करवाना आपका काम है, जहां सख्ती जरूरी है वहां सख्ती दिखाएं, जहां बात से काम बनें वहां बातचीत करें, क्योंकि आप जनता के सेवक हैं, लेकिन कभी-कभी जनता नहीं मानती तो अधिकारियों को सख्ती दिखानी पड़ती है, राजस्थान वाले केस की पूरी कहानी क्या है, वो जांच के बाद ही पता चलेगी, लेकिन तस्वीर देखकर आपको क्या लगता है, कमेंट कर बता सकते हैं.