भारतीय तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी इस समय सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी में बंगाल टीम के लिए खेल रहे हैं, लेकिन उनके बारे में यह स्पष्ट हो चुका है कि वह आगामी बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के दूसरे टेस्ट मैच में टीम इंडिया का हिस्सा नहीं होंगे. यह खबर भारतीय क्रिकेट प्रशंसकों के लिए थोड़ी निराशाजनक हो सकती है, खासकर इस महत्वपूर्ण टेस्ट सीरीज के दौरान, जब भारतीय टीम को शमी जैसे अनुभवी तेज गेंदबाज की जरूरत महसूस हो रही है.
शमी की चोट और वापसी
मोहम्मद शमी ने लगभग एक साल तक क्रिकेट से दूरी बनाई थी, क्योंकि वह एक गंभीर चोट से जूझ रहे थे. दो सप्ताह पहले, उन्होंने रणजी ट्रॉफी में मध्यप्रदेश के खिलाफ वापसी की थी, और इस मुकाबले में उन्होंने शानदार प्रदर्शन किया. शमी ने 7 विकेट लेकर अपनी फिटनेस और गेंदबाजी के कौशल को साबित किया, लेकिन फिलहाल उनका वापस टीम इंडिया में चयन नहीं हो सका है.
भारतीय टीम के गेंदबाजी कोच मोर्ने मोर्कल ने पहले ही कहा था कि शमी की स्थिति पर नजर रखी जा रही है. उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि शमी को तब तक राष्ट्रीय टीम में नहीं लिया जाएगा, जब तक उनकी मैच फिटनेस पूरी तरह से ठीक नहीं हो जाती. भारतीय क्रिकेट बोर्ड ने भी शमी से कहा है कि उन्हें अपनी फिटनेस में सुधार करना होगा.
बंगाल क्रिकेट संघ का बयान
बंगाल क्रिकेट संघ के एक सूत्र ने टाइम्स ऑफ इंडिया से बात करते हुए बताया, "शमी का ऑस्ट्रेलिया दौरे पर जाने का फिलहाल कोई चर्चा नहीं हो रही है. इस समय जो तेज गेंदबाज ऑस्ट्रेलिया दौरे पर गए हैं, वे सभी अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं."
भारतीय तेज गेंदबाजों का शानदार प्रदर्शन
ऑस्ट्रेलिया में बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के पहले टेस्ट में भारतीय टीम ने शानदार प्रदर्शन किया. इस मैच में मोहम्मद सिराज, हार्शित राणा और जसप्रीत बुमराह ने तेज गेंदबाजी का अच्छा उदाहरण प्रस्तुत किया. इन तीनों गेंदबाजों ने मिलकर ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों को मुश्किल में डाला और भारतीय टीम की जीत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. इसके अलावा, नितीश कुमार रेड्डी, जो एक ऑलराउंडर हैं और तेज गेंदबाजी भी करते हैं, ने भी अहम योगदान दिया.