नई दिल्ली: मीडिया रिपोर्ट्स में अधिकारियों के हवाले से बताया गया है कि जम्मू सेक्टर में नियंत्रण रेखा (एलओसी) के पास हुए विस्फोट में कम से कम तीन सैन्यकर्मी गंभीर रूप से घायल हो गए. यह घटना कुपवाड़ा जिले में नियंत्रण रेखा के पास करनाह इलाके में तलाशी अभियान के दौरान सुरक्षा बलों द्वारा हथियारों और गोला-बारूद का जखीरा बरामद किए जाने के एक दिन बाद हुई है. सेना और पुलिस की एक संयुक्त टीम ने सोमवार को इलाके में हथियार और गोला-बारूद की मौजूदगी की सूचना मिलने के बाद करनाह तहसील के बड़ी मोहल्ला अमरोही में तलाशी अभियान चलाया था.
तलाशी अभियान के दौरान सुरक्षा बलों ने एक एके 47 राइफल, एक एके मैगजीन, एक सैगा एमके राइफल, एक सैगा एमके मैगजीन और 12 राउंड बरामद किए. अधिकारियों ने सोमवार को बताया कि हथियार और गोला-बारूद एक खाद्य भंडार के पीछे एक बैग में रखे गए थे. अधिकारियों ने कहा कि स्थानीय पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज कर लिया गया है और जांच शुरू कर दी गई है.
जम्मू स्थित व्हाइट नाइट कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल नवीन सचदेवा ने जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले में एलओसी पर दुश्मनों की गतिविधियों की भी समीक्षा की. यह घटना केरी सेक्टर में नियंत्रण रेखा के पार एक जंगल में छिपे संदिग्ध आतंकवादियों द्वारा गोलीबारी किए जाने के दो दिन बाद घटी है.
सेना ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि जीओसी व्हाइट नाइट कोर, जीओसी ऐस ऑफ स्पेड्स और जीओसी क्रॉस्ड स्वॉर्ड्स डिवीजनों के साथ मौजूदा सुरक्षा स्थिति और शत्रुतापूर्ण गतिविधियों पर परिचालन अपडेट के लिए राजौरी सेक्टर के अग्रिम क्षेत्रों का दौरा किया. व्हाइट नाइट कोर द्वारा अपने आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल पर साझा किए गए पोस्ट में कहा गया है कि कोर कमांडर ने सभी रैंकों को उनकी सतर्कता और अथक परिचालन फोकस के लिए बधाई दी. सेना ने कहा कि उन्होंने उनसे किसी भी एक्शन के लिए तैयार रहने के लिए कहा है.