नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दीनदयाल उपाध्याय मार्ग पर बने दिल्ली प्रदेश भारतीय जनता पार्टी के नए कार्यालय का उद्घाटन किया. इस समारोह में भाजपा के राष्ट्रीय प्रमुख जेपी नड्डा, दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता, राज्य के अन्य कैबिनेट सदस्य और सभी भाजपा सांसद मंच पर एकत्र हुए, जो पार्टी की एकजुटता का प्रतीक बना. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने भावुक स्वर में कहा कि जनसंघ के दौर से ही पार्टी के नेता व कार्यकर्ता दिल्लीवासियों की पुकार बने हुए हैं. कठोर परिश्रम और निष्ठा से ही भाजपा आज इस ऊंचाई छू सकी है.
लंबे इंतजार के बाद कार्यकर्ताओं को अपना स्थायी ठिकाना मिला, जो उनकी मेहनत का फल है. जेपी नड्डा ने प्रधानमंत्री की तारीफों के पुल बांधे और बताया कि जब भी संगठन को दिशा की जरूरत पड़ी, मोदी ने बिना देर किए मार्गदर्शन दिया. देश के सर्वोच्च पद पर रहते हुए भी उन्होंने पार्टी की हर अपील को सर्वोपरि माना. उनका हर क्षण राष्ट्र निर्माण और संगठन सशक्तिकरण के लिए समर्पित रहा. 140 करोड़ भारतीयों के उत्थान के लिए उनका योगदान अविस्मरणीय है. वे एक माहिर रणनीतिकार हैं, जो संगठन को नई दिशा देते हैं.
नड्डा ने अपना पुराना किस्सा साझा किया, "हिमाचल प्रदेश में जब मैं अध्यक्ष था, तब नरेंद्र मोदी महासचिव बने. वहां तो पार्टी का कोई दफ्तर ही नहीं था. उनकी प्रेरणा से हिमाचल में भाजपा का पहला केंद्र खड़ा हुआ और उसी मार्गदर्शन में राज्य में हमारी सरकार गठित हुई." उन्होंने जोड़ा कि मोदी की प्रेरणा से ही पूरे देश में 618 राज्य व जिला स्तर के कार्यालय उभरे हैं, जो एक परिवर्तनकारी भाजपा का प्रमाण हैं. यह नया कार्यालय आधुनिक संसाधनों से लैस है.
प्रधानमंत्री ने खुद कहा था कि साधारण दफ्तर सुबह 10 से शाम 5 तक चलता है, लेकिन असली कार्यालय तो संगठन की धड़कन है. यह कभी सोता नहीं, हमेशा सक्रिय रहता है. याद रहे, 1980 में अजमेरी गेट पर मात्र दो कमरों से दिल्ली में भाजपा की पारी शुरू हुई थी. वह शुरुआती केंद्र राष्ट्रीय स्तर का था, जो बाद में राज्य इकाई में तब्दील हो गया. अब 14 जिला इकाइयों, राष्ट्रीय मुख्यालय के दो खंडों और इस स्थायी राज्य केंद्र के साथ कुल 17वां जुड़ गया.
उद्घाटन के मुख्य अतिथि पीएम मोदी के अलावा नड्डा व मुख्यमंत्री गुप्ता भी उपस्थित रहीं. सचदेवा ने समारोह की कमान संभाली. फिलहाल राज्य इकाई 14 पंडित पंत मार्ग पर चल रही है, जो कभी सांसद मदन लाल खुराना का आवास था. 1990 में खुराना ने इसे पार्टी केंद्र में बदल दिया. बाद में यह लाल बिहारी तिवारी को सौंपा गया, लेकिन अटल बिहारी वाजपेयी के पीएम बनने पर इसे स्थायी रूप से भाजपा को लौटा दिया गया.
पुराने कार्यकर्ता सुंदर सिंह, जो अजमेरी गेट, रकाबगंज व पंत मार्ग के केंद्रों में सक्रिय रहे, बताते हैं कि अजमेरी गेट का एकमंजिला भवन ग्राउंड फ्लोर पर राज्य इकाई और ऊपरी तल पर राष्ट्रीय दफ्तर के लिए था. दोनों स्तरों पर सिर्फ दो-दो कमरे थे. एक कर्मचारियों के लिए, दूसरा अध्यक्ष के. यह यात्रा संघर्षों से भरी रही, लेकिन आज भाजपा दिल्ली में मजबूती से जमी हुई है.